रावण का अंत उसकी बुराइयों की वजह से हुआ था इसलिए आज भी हम दशहरे में रावण का पुतला जला कर बुराई का अंत करते है रावण में कई शक्तियां भी थीं और उनके बल पर उसने आतंक मचाया हुआ था उसे समाप्त करने के लिए भगवान राम को धरती पर आना पड़ा।तो आज जानिए रावण की कुछ कमियां और कुछ छुपी हुई उसकी खूबियां भी।
- रावण बड़ा विद्वान व् ब्राह्मण कुल का था रावण एक बहुत बड़ा योद्धा था उसने माँ सीता का हरण किया था इतने समय माँ सीता उसके पास रही तो भी माँ सीता के आज्ञा के बिना उन्हें छुआ नही किसी भी तरह की जबरदस्ती की कोशिश नही की पर वह उन्हें उनकी मर्ज़ी से पाना चाहता था।
- रावण वीर योद्धा था। उसने युद्ध में बड़े-बड़े राजाओं को परास्त किया था। विजय के उन्माद में रावण यमपुरी तक चला गया और वहां उसने यमराज को भी परास्त कर दिया था।
- रावण ने नर्क में सजा भुगत रही दुष्ट आत्माओं को कैदखाने से मुक्त कर दिया और उन्हे अपनी सेना में शमिल कर लिया था। वह मृत्यु पर विजय चाहता था पर वह ऐसा कर नहीं सका।
- बाली ने रावण को पराजित किया था और वह उसे अपने बाजू में दबाकर समुद्रों की परिक्रमा भी किया करता था।
- रावण के भाई विभीषण सत्यवादी थे। वे किसी की झूठी प्रशंसा नहीं करते थे। रावण को उन्होंने कई बार चेतावनी दी लेकिन उस पर कोई असर नहीं हुआ। आखिरकार झूठी प्रशंसा करने के बजाय विभीषण ने रावण की लंका का त्याग करना उचित समझा।
- रावण मदिरा प्रेमी था। पर उसे मदिरा की दुर्गन्ध पसंद नही थी उसका सपना था कि वह मदिरा की दुर्गंध मिटा देगा पर यह कर नही सका।
- रावण चाहता था की सोने में से खुसबू आये और वह चाहता था की सोना सुगंधित बन जाये। वह सोचता था कि अगर स्वर्ण में सुगंध हो जाए तो इसका सौंदर्य और बढ़ सकता है। उसे स्वर्ण से बेहद प्रेम था।
- वह चाहता था कि लोग ईश्वर को पूजने और अच्छे कर्म करने के बजाय उसकी आराधना शुरू कर दें, ताकि उन्हें स्वर्ग की प्राप्ति हो सके।पर ऐसा न हो सका तो ये थे रावण के अच्छे बुरे विचार जो अधूरे ही रह गए।